नमक से लेकर चाय तक..कार से लेकर हवाई जहाज तक, सुई से लेकर बड़े बड़े ट्रक तक, घड़ी से लेकर AC तक। हर तरफ टाटा की मौजूदगी !
इस नमक की सबसे बड़ी खासियत यह है कि इससे आयोडीन और आयरन की कमी दूर होती है। साथ ही ब्लड प्रेशर को भी यह नमक कंट्रोल करता है।देश में आज की तारीख में टाटा नमक एक से ज्यादा वैरायटीज में उपलब्ध है। इतने सब गुणों से भरपूर होने के बावजूद इसकी कीमत लागत की अपेक्षा मामूली है। कम पैसे में नमक उपलब्ध होने के कारण लोग इसे इस्तेमाल करते हैं। टाटा ग्रुप ने चाय बनाने का भी काम किया। टाटा टी का बिजनेस भी भारत में सबसे ज्यादा है। लोग टाटा ग्रुप की चाय पीना ज्यादा पंसद करते हैं। यह छोटे-छोटे पाउज में बाजार में उपलब्ध है।
देश ने आज एक बड़ा अनमोल रतन खो दिया है। टाटा को ग्लोबल ब्रांड बनाने वाले रतन टाटा अब हमारे बीच नहीं रहे लेकिन उनके योगदान को देश याद कर रहा है। रतन टाटा वो शख्स हैं। जिन्होंने टाटा को घर-घर पहुंचा दिया। देश का शायद ही ऐसा कोई घर होगा। जहां टाटा की पहुंच नहीं होगी। नमक से लेकर चाय तक..कार से लेकर हवाई जहाज तक, सुई से लेकर बड़े बड़े ट्रक तक, घड़ी से लेकर AC तक। हर तरफ टाटा की मौजूदगी है। रतन टाटा ने कभी भी मुनाफे के लिए आम लोगों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ नहीं किया। उन्होंने बिजनेस के साथ आम लोगों की सेहत और स्वाद का भी ख्याल रखा।रतन टाटा ने फोर्ड मोटर से ऐसे लिया था बेइज्जती का बदला, जगुआर लैंड रोवर खरीद कर दी थी .जब देश में आयोडीन की कमी से होने वाली बीमारियों से लोग परेशान थे तब लोगों की भलाई के लिए रतन टाटा ने एक ऐसा उपाय ढूंढा जिससे लोगों का स्वाद और सेहत दोनों अच्छा रहे। रतन टाटा की टाटा केमिकल्स कंपनी ने साल 1983 में भारत में पहली बार पैकेट में आयोडीन युक्त नमक ब्रांड को लॉन्च किया। यह नमक आज भी लोगों के दिलों में राज करता है और हर घर में टाटा का नमक पहली पसंद है। अगर आपके सामने नमक के कई ब्रांड रखें हो तो सबसे पहले आप टाटा नमक ही चूज करेंगे। क्योंकि आम लोगों के मन में टाटा के ब्रांड को लेकर कोई शंका नहीं है।जानकारी के अनुसार, टाटा ग्रुप ने देश में नमक बनाने का काम 1927 में गुजरात के ओखा में शुरू किया था। तब किसी ने कल्पना तक नहीं की थी कि गुजरात में नमक भी बनाया जा सकता है। कंपनी ने 1983 में पैकेट में आयोडीन नमक बेचना शुरू कर दिया। इस नमक की सबसे बड़ी खासियत यह है कि इससे आयोडीन और आयरन की कमी दूर होती है। साथ ही ब्लड प्रेशर को भी यह नमक कंट्रोल करता है।देश में आज की तारीख में टाटा नमक एक से ज्यादा वैरायटीज में उपलब्ध है। इतने सब गुणों से भरपूर होने के बावजूद इसकी कीमत लागत की अपेक्षा मामूली है। कम पैसे में नमक उपलब्ध होने के कारण लोग इसे इस्तेमाल करते हैं। टाटा ग्रुप ने चाय बनाने का भी काम किया। टाटा टी का बिजनेस भी भारत में सबसे ज्यादा है। लोग टाटा ग्रुप की चाय पीना ज्यादा पंसद करते हैं। यह छोटे-छोटे पाउज में बाजार में उपलब्ध है।
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